कट्टरपंथी उपदेशक और खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह फरार घोषित हो चुका है। पंजाब पुलिस लगातार उसकी तलाशी के लिए धरपकड़ कर रही है। इस मामले में पुलिस को अमृतपाल सिंह के घर से कुछ जैकेट मिली है। ये जैकेट आनंदपुर खालसा फोर्स (AKF) से संबंधित है जिसे बनाने के लिए अमृतपाल ने पूरी तैयारी कर ली थी। पुलिस को फरार अमृतपाल के घर से मिले हथियारों में भी AKF लिखा मिला है।
इसी बीच पुलिस ने दावा किया है कि अमृतपाल सिंह का पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई से भी संपर्क है। इस मालमे पर अमृतसर के डीआईजी स्वपन शर्मा ने दावा किया कि उनके कुछ पाकिस्तान-आईएसआई लिंक थे। उन्होंने बताया कि अमृतपाल सिंह को पकड़ने के निर्देश दिए गए थे। इसके बाद उसे पकड़ने के लिए उसका पीछा किया गया। हालांकि वो भागने में सफल रहा। मगर उसकी दो गाड़ियों को बरामद किया गया है, जिनमें से सात अवैध हथियार भी बरामद किए गए थे। अमृतपाल के खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज हैं।
सोमवार तक नहीं चलेगा इंटरनेट
एहतियात के तौर पर पंजाब सरकार ने राज्य में मोबाइल इंटरनेट और एसएमएस सेवाओं के निलंबन की अवधि सोमवार दोपहर तक बढ़ा दी है। राज्य के प्राधिकारियों ने शनिवार को इंटरनेट और एसएमएस सेवाएं रविवार दोपहर तक के लिए निलंबित कर दी थीं। अतिरिक्त मुख्य सचिव द्वारा रविवार को जारी आधिकारिक आदेश में कहा गया है, ‘‘भारतीय टेलीग्राफ अधिनियम, 1885 के तहत मुझे प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, यह निर्देश दिया जाता है कि पंजाब के क्षेत्रीय अधिकार क्षेत्र में सभी मोबाइल इंटरनेट सेवाएं (2जी/3जी/45/5जी/सीडीएमए/जीपीआरएस), सभी एसएमएस सेवाएं (बैंकिंग और मोबाइल रिचार्ज को छोड़कर) और वॉयस कॉल को छोड़कर मोबाइल नेटवर्क पर प्रदान की जाने वाली सभी डोंगल सेवाओं को 19 मार्च (दोपहर 12 बजे) से 20 मार्च (दोपहर 12 बजे) तक के लिए निलंबित किया जाएगा, ताकि हिंसा भड़का सकने और शांति एवं सार्वजनिक व्यवस्था को बिगाड़ सकने वाली हर प्रकार की घटना को रोका जा सके।’’ आदेश में कहा गया है कि ब्रॉडबैंड सेवाओं को निलंबित नहीं किया जा रहा है, ताकि बैंकिंग सुविधाएं, अस्पताल सेवाएं और अन्य आवश्यक सेवाएं उपलब्ध रहें।
पुलिस ने जब्त किए दो वाहन
कट्टरपंथी उपदेशक और खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह की तलाश जारी है। जालंधर के पुलिस आयुक्त कुलदीप सिंह चहल ने शनिवार रात जालंधर में कहा, ‘‘वह (अमृतपाल) अब भगोड़ा है और हम उसकी तलाश कर रहे हैं तथा उसे जल्द ही गिरफ्तार कर लेंगे।’’ उन्होंने कहा कि अमृतपाल से संबंधित दो वाहनों को जब्त कर लिया गया है। अधिकारियों ने बताया कि पंजाब पुलिस ने अमृतपाल सिंह और उसके समर्थकों के खिलाफ शनिवार को बड़ी कार्रवाई शुरू की थी और उसके नेतृत्व वाले एक संगठन के 78 सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया था।
जालंधर जिले में अमृतपाल के काफिले को रोका गया, लेकिन वह पुलिस को चकमा देकर फरार हो गया। अधिकारियों ने कई स्थानों पर सुरक्षा कड़ी कर दी है। पुलिस के अनुसार, अभियान के दौरान अब तक कुल 78 लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जबकि कई अन्य को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। पुलिस की यह कार्रवाई अमृतपाल सिंह के धार्मिक जुलूस ‘खालसा वाहिर’ के मुक्तसर जिले से शुरू होने से एक दिन पहले हुई है।
नई एफआईआर हुई दर्ज
अमृतपाल सिंह और उसके कुछ साथियों के खिलाफ अवैध हथियार रखने के सिलसिले में रविवार को एक नयी प्राथमिकी दर्ज की गई। अमृतसर ग्रामीण के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सतिंदर सिंह ने कहा कि अमृतपाल के सात साथियों को शस्त्र अधिनियम के तहत गिरफ्तार किया गया है। सात आरोपियों की गिरफ्तारी का जिक्र करते हुए एसएसपी ने कहा, ‘‘हमने बीती रात शस्त्र अधिनियम के तहत एक नयी प्राथमिकी दर्ज की है, जिसमें अमृतपाल मुख्य आरोपी है। इस ताजा प्राथमिकी में वह सात भी आरोपी हैं, जिन्हें गिरफ्तार किया गया है।
गिरफ्तार लोगों को ले जाया गया असम
कट्टरपंथी उपदेशक एवं खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह के नेतृत्व वाले संगठन से जुड़े चार सदस्यों को पंजाब से गिरफ्तार करने के बाद रविवार को असम के डिब्रूगढ़ लाया गया। अधिकारियों ने बताया कि अमृतपाल के संगठन के चारों गिरफ्तार सदस्यों को एक विशेष विमान से डिब्रूगढ़ लाया गया। पुलिस के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘चारों को फिलहाल डिब्रूगढ़ केंद्रीय कारागार में रखा गया है।’’
बरामद हुए कई हथियार
पुलिस ने बताया कि राज्यव्यापी अभियान के दौरान अब तक .315 बोर की एक राइफल, 12 बोर की सात राइफल, एक रिवॉल्वर और 373 कारतूस सहित नौ हथियार बरामद किए गए हैं। पुलिस के मुताबिक, पंजाब में कई जगहों पर वाहनों की तलाशी लेने के साथ ही सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। पुलिस के एक प्रवक्ता ने बताया कि डब्ल्यूपीडी से जुड़े लोग विभिन्न वर्गों के बीच वैमनस्य फैलाने, हत्या के प्रयास, पुलिसकर्मियों पर हमले और लोक सेवकों के कर्तव्यों के निर्वहन में बाधा उत्पन्न करने से संबंधित चार आपराधिक मामलों में शामिल रहे हैं। उन्होंने कहा कि 24 फरवरी को अजनाला थाने पर हमले के लिए डब्ल्यूपीडी तत्वों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। पिछले महीने, अमृतपाल और उसके समर्थकों ने तलवारें और बंदूकें लहराते हुए अवरोधकों को तोड़ दिया था और अमृतसर शहर के बाहरी इलाके में अजनाला थाना में घुस गए थे। वे सभी अमृतपाल के एक सहयोगी की रिहाई की मांग कर रहे थे।
इस घटना में एक पुलिस अधीक्षक सहित छह पुलिसकर्मी घायल हो गए थे। घटना के बाद राज्य में आम आदमी पार्टी (आप) नीत सरकार को काफी आलोचना का सामना करना पड़ा था और उस पर चरमपंथियों के सामने झुकने का आरोप लगाया गया था। दुबई में रह चुके अमृतपाल सिंह को पिछले साल ‘वारिस पंजाब दे’ का प्रमुख बनाया गया था, जिसकी स्थापना अभिनेता और कार्यकर्ता दीप सिद्धू ने की थी। दीप सिद्धू की पिछले साल फरवरी में एक सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी।
राज्य सीमा की सुरक्षा बढ़ाई
इस मामले में पंजाब से लगती हिमाचल प्रदेश की सीमाओं पर सुरक्षा जांच बढ़ा दी गई है। ऊना के पुलिस अधीक्षक अर्जित सेन ठाकुर ने बताया कि नंगल और गगरेट की हर जांच चौकी पर संदिग्ध दिखने वाले सभी वाहनों की तलाशी लेने के साथ ही वहां कड़ी निगरानी रखी जा रही है। ठाकुर के मुताबिक, ऊना पुलिस ने हिमाचल-पंजाब सीमा पर बथरी, मारवाड़ी, संतोषगढ़ और मेहतपुर में कई जगहों पर बैरिकेड लगाए हैं और भारी संख्या में अपने जवानों की तैनाती की है। ठाकुर ने लोगों से शांत और संयमित रहने की अपील की। उन्होंने लोगों से कहा है कि अगर वे अपने क्षेत्र में किसी भी अवांछित तत्व को देखते हैं, तो तुरंत इसकी सूचना पुलिस को दें।